गुयाना में न्यायिक सेवा आयोग के नामांकन में गतिरोध
गुयाना के न्यायिक सेवा आयोग (JSC) द्वारा कोर्ट ऑफ अपील के जज खातिर नामांकन के विज्ञापन के बाद से अब तक सात महीना से अधिक समय बीत चुकल बा। लेकिन अबहियो तक नामन पर सहमति बनावे में दिक्कत आ रहल बा।
नामन के सूची में कमी
सूत्रन के जानकारी के अनुसार, JSC के अब तक पांच नाम प्राप्त भइल बाड़न स। लेकिन इन नामन पर सहमति बनावल मुश्किल साबित भइल बा। गुयाना के न्यायिक सेवा में ए तरह के गतिरोध से कई सवाल उठ रहल बाड़न स। जज के चयन प्रक्रिया में देरी से न्यायिक प्रणाली पर असर पड़ सकेला, जवन कि आम जनता के अधिकारन पर भी प्रभाव डाल सकेला।
JSC के प्रतिक्रिया
पिछला हफ्ता, Stabroek News जSC से संपर्क कइलसि, जवन कि कोर्ट ऑफ अपील के बिल्डिंग, किंग्स्टन में स्थित बा। लेकिन JSC के चेयरपर्सन आ कार्यवाहक चांसलर ऑफ द ज्यूडिशियरी, जस्टिस योनेट कमिंग्स-एडवर्ड्स, उपलब्ध ना रहली। उनका ड्यूटी पर होखला के कारण जवाब ना मिल पावल।
न्यायिक प्रणाली पर प्रभाव
ई गतिरोध गुयाना के न्यायिक प्रणाली पर गंभीर असर डाल सकेला। न्यायिक सेवा में समय पर जज के नियुक्ति ना होखला से ना केवल कानूनी मामलों में देरी होई, बल्कि न्याय के प्रक्रिया के प्रति जनता के विश्वास में भी कमी आ सकेला। एहि से गुयाना के नागरिकन के चिंता बढ़ रहल बा।
संभावित समाधान
अब सवाल उठता कि ई समस्या के समाधान कइसे होई। अगर JSC जल्दी से जल्दी नाम पर सहमति बना ले, त न्यायिक सेवा के कार्यप्रणाली बेहतर हो सकेला। आ ई जरूरी बा कि सरकार आ JSC मिलके एक ठोस योजना बनावे, ताकि न्यायिक सेवा में सुधार आ सके।
FAQs
प्रश्न 1: न्यायिक सेवा आयोग का ह?
उत्तर: न्यायिक सेवा आयोग गुयाना में न्यायिक सेवा से जुड़ल जज आ अन्य अधिकारी के चयन आ नियुक्ति के काम करे वाला संस्था ह।
प्रश्न 2: जज के नियुक्ति में काहे देरी भइल बा?
उत्तर: जज के नाम पर सहमति ना बन पावल आ कई नामन पर चर्चा चल रहल बा, जेकरा चलते देरी भइल बा।
प्रश्न 3: ई गतिरोध से जनता पर का असर पड़ी?
उत्तर: ई गतिरोध से न्यायिक प्रक्रिया में देरी हो सकीला, जेकरा से आम नागरिकन के अधिकार प्रभावित हो सकेला।
प्रश्न 4: JSC कइसे काम करे ला?
उत्तर: JSC न्यायिक सेवा में जज आ अन्य अधिकारी के चयन आ नियुक्ति के प्रक्रिया के संचालन करे ला।
प्रश्न 5: गुयाना के न्यायिक प्रणाली के स्थिति का ह?
उत्तर: गुयाना के न्यायिक प्रणाली में सुधार के जरूरत बा, आ ई गतिरोध ओकरा में एक चुनौती प्रस्तुत कर रहल बा।