ट्रैक्टर फैक्ट्री के 500000 डॉलर के प्री-सीड फंडिंग
नई दिल्ली:
SS ट्रैक्टर फैक्ट्री प्राइवेट लिमिटेड, जवन ट्रैक्टर फैक्ट्री के नाम से जानल जाला, 4 करोड़ रुपये (लगभग 500,000 डॉलर) के फंडिंग जुटवले बिया, जवन कि शुरुआती स्टेज के निवेश फर्म ऑल इन कैपिटल द्वारा नेतृत्व कइल गइल बा।
निवेश के विवरण:
ई फंडिंग राउंड में कई प्रमुख निवेशक शामिल रहलें, जइसे भारत फाउंडर्स फंड, देवसी, आ कुछ परिवार के कार्यालय, जइसे ढिंगरा पार्टनर्स प्रॉस्पेरिटी ट्रस्ट (किर्लोस्कर जनरेटर परिवार कार्यालय से जुड़ल) शामिल बाड़ें। साथ ही, एंजेल निवेशक जइसे समीर सूद (वेंचर हाईवे के संस्थापक), अभिषेक गोयल (ट्रैकसन के संस्थापक), आ आयुष फुम्ब्रा (चैग के संस्थापक) आ पूनित कुमार (स्टेडव्यू कैपिटल से) भी ई नई निवेश में शामिल भइलें।
कंपनी के उद्देश्य:
ट्रैक्टर फैक्ट्री के स्थापना 2024 में IIT आ IIM के पूर्व छात्र शैलेश तिवारी द्वारा कइल गइल। ई कंपनी भारत के सबसे बड़ा प्लेटफार्म बने के लक्ष्य रखत बिया, जवन पुरान ट्रैक्टर आ कृषि उपकरण के खरीद-बिक्री में सहायक होई, जवन कि मौजूदा बाजार में अनिश्चितता आ जोखिम के समाधान करे।
फंडिंग के उपयोग:
कंपनी ई फंड के इस्तेमाल तकनीक के सुधार, बाजार के बढ़ावा, आ ग्राहक के अनुभव में सुधार खातिर करी। ई प्रयास किसानन के लेन-देन के प्रक्रिया के आसान बनावे में मदद करी।
किसानन के समुचित मदद:
“हमनी के देखनी ह कि मध्यवर्गीय किसानन के कइसे विश्वसनीय, कम लागत वाला ट्रैक्टर के कमी के चलते चुनौती के सामना करे के पड़ता, जवन पीढ़ी दर पीढ़ी गरीबी के कारण बनता। ट्रैक्टर फैक्ट्री में, हम ई समस्या के समाधान करे के कोशिश करत बानी आ हम खुश बानी कि हमनी के मिशन में विश्वसनीय निवेशकन के समर्थन मिलल बा। हमनी के अगले तीन साल में 1000 करोड़ रुपये के राजस्व पैदा करे के लक्ष्य रखले बानी,” शैलेश तिवारी बतवले।
छोट किसानन के सशक्तिकरण:
उ ऊपरी अनिश्चितता के खत्म करे के कोशिश करत बाड़न, जवन ट्रैक्टर के लेन-देन में होखेला। ई खासकर छोट जमीन के मालिक किसानन खातिर महत्व रखेला, जे अक्सर बिचौलिया द्वारा चलावल जाला आ विश्वसनीय पुरान ट्रैक्टर खरीदल में मुश्किल महसूस करत बाड़ें।
ऑम्निचैनल मार्केटप्लेस:
ट्रैक्टर फैक्ट्री एगो ऑम्निचैनल मार्केटप्लेस प्रदान करत बिया, जवन किसानन के मशीनरी के जरूरतन के पूरा करे खातिर पुरान ट्रैक्टर के खरीद-बिक्री के प्रक्रिया के आसान आ सस्ता बनावत बिया।
निवेश के तर्क:
कुशाल भागिया, ऑल इन कैपिटल के संस्थापक, बतवले, “भारत एक कृषि प्रधान अर्थव्यवस्था ह। हालांकि, देश के 95% से अधिक किसान मध्यवर्गीय श्रेणी में आवेलन आ नया ट्रैक्टर खरीद सके के संसाधन ना रखेलन, जवन उनकर उत्पादन क्षमता के सीमित कर देला। ट्रैक्टर फैक्ट्री ई बड़ समस्या के समाधान कर रहल बा आ छोटे किसानन के आवश्यकतावन के पूरा कर रहल बा।”
मार्केट के संभावनाएँ:
समीर सूद, वेंचर हाईवे के संस्थापक, जोड़लन, “पुरान ट्रैक्टर भारत में 10 अरब डॉलर के बाजार ह, जवन अभी तक अनछुआ आ असंगठित बा। शैलेश आ उनकर टीम के ई क्षेत्र के बेहतरीन समझ बा, जवन उनकरा के किसानन खातिर परिदृश्य के परिवर्तन में आगू बढ़े के स्थिति में रखता।”
निष्कर्ष:
ट्रैक्टर फैक्ट्री कृषि क्षेत्र में एगो नया आयाम जोड़ रहल बा, जवन किसानन के सशक्तिकरण आ आर्थिक विकास में मदद करी।
FAQs
ट्रैक्टर फैक्ट्री के स्थापना कब भइल?
ट्रैक्टर फैक्ट्री के स्थापना 2024 में भइल।
ई कंपनी के मुख्य उद्देश्य का ह?
ई कंपनी पुरान ट्रैक्टर आ कृषि उपकरण के खरीद-बिक्री के प्रक्रिया के आसान आ सस्ता बनावे के उद्देश्य रखेला।
कंपनी के फंड के उपयोग का होई?
कंपनी फंड के इस्तेमाल तकनीक आ ग्राहक अनुभव के सुधार खातिर करी।
कौन-कौन निवेशक शामिल भइल बाड़ें?
भारत फाउंडर्स फंड, देवसी, आ कई एंजेल निवेशक शामिल बाड़ें।